नई दिल्ली, 12 नवंबर 2025। Delhi Blast: दिल्ली में हुए विस्फोट के सिलसिले में जांच एजेंसियों ने अब तक 18 संदिग्धों को गिरफ्तार कर लिया है। इस आतंकी नेटवर्क के तार जम्मू-कश्मीर, उत्तर प्रदेश और फरीदाबाद तक फैले हुए हैं। जम्मू-कश्मीर से सबसे अधिक 9 लोगों को पकड़ा गया, जिनमें तारिक, आमिर, उमर, डॉ. सज्जाद, अरिफ, यासिर, मकसूद, इरफान और जमीर शामिल हैं।
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उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से डॉ. अदील रईस, लखनऊ से डॉ. परवेज, जबकि फरीदाबाद के सेक्टर-56 से एक अन्य डॉक्टर को हिरासत में लिया गया। सबसे चौंकाने वाला खुलासा फरीदाबाद की अल फलाह यूनिवर्सिटी से जुड़ा है, जहां से सबसे ज्यादा गिरफ्तारियां हुई हैं। यहां के प्रोफेसर डॉ. मोज़मिल अहमद और महिला डॉक्टर शाहीन शाहिद को पकड़ा गया।
इसके अलावा, यूनिवर्सिटी के चार लैब टेक्नीशियन भी हिरासत में हैं। जांच में पता चला कि डॉ. मोज़मिल के जैश-ए-मुहम्मद से गहरे रिश्ते थे। विस्फोट में इस्तेमाल आई-20 कार भी इसी यूनिवर्सिटी के परिसर में खड़ी मिली। एजेंसियों को शक है कि यह एक सुसाइड बॉम्बिंग था, जिसमें जम्मू-कश्मीर के डॉ. उमर का हाथ हो सकता है।
उसके डीएनए टेस्ट की रिपोर्ट से सच्चाई सामने आ सकती है। गिरफ्तार डॉक्टरों में ज्यादातर जम्मू-कश्मीर के निवासी हैं। सहारनपुर से पकड़े गए डॉ. अदील अनंतनाग के रहने वाले हैं, उसके लॉकर से एके-47 राइफल बरामद हुई। फरीदाबाद से गिरफ्तार मुजम्मिल शकील पुलवामा का निवासी है और अल फलाह में प्रोफेसर था। मुख्य आरोपी उमर भी जम्मू का रहने वाला है, जो अनंतनाग में कुछ समय काम कर चुका था।
उसकी चाची ने मीडिया को बताया कि उमर की तस्वीरें आई-20 कार में कैद हुई हैं। यह गिरफ्तारी अभियान आतंकी मॉड्यूल की जड़ें उखाड़ने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। एजेंसियां अब और सबूत जुटा रही हैं, ताकि पूरे नेटवर्क का खुलासा हो सके। इस घटना ने सुरक्षा चिंताओं को बढ़ा दिया है, खासकर शैक्षणिक संस्थानों में घुसपैठ के संदर्भ में।
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