पटना, 27 सितंबर 2025। Amit Shah Security Breach: बिहार विधानसभा चुनाव की सरगर्मियों के बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के दो दिवसीय दौरे के दौरान एक बड़ी सुरक्षा चूक ने पूरे राजनीतिक हलकों में हड़कंप मचा दिया है। पटना एयरपोर्ट के निकट उनके काफिले के रास्ते में अचानक एक संदिग्ध कार घुस आई, जिससे सुरक्षा एजेंसियों की लापरवाही पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं। यह घटना शुक्रवार शाम को घटी, जब शाह बेट्टिया से पटना लौट रहे थे।
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वीडियो फुटेज में साफ दिख रहा है कि तेज रफ्तार कार काफिले के बीचों-बीच पहुंच गई, जिसे सुरक्षा कर्मियों ने किसी तरह साइड पर धकेल दिया। अमित शाह का यह दौरा बिहार चुनाव की रणनीति को अंतिम रूप देने के उद्देश्य से था। 26 सितंबर को वे बेट्टिया में बीजेपी कार्यकर्ताओं के साथ जोनल मीटिंग में शामिल हुए, जहां उन्होंने पार्टी को मजबूत करने पर जोर दिया। अगले दिन 27 सितंबर को सरायरणजन और फोर्ब्सगंज में सभाओं का कार्यक्रम था, लेकिन एयरपोर्ट की इस घटना ने उनके दौरे पर साया डाल दिया।
सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि कार काफिले को ओवरटेक करने की कोशिश करती हुई नजर आ रही है, जबकि एसपीजी (स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप) के जवान तुरंत अलर्ट हो जाते हैं। कार को रोका तो गया, लेकिन ड्राइवर की तलाशी और पूछताछ की प्रक्रिया में देरी हुई, जो सुरक्षा प्रोटोकॉल का स्पष्ट उल्लंघन है।यह पहली बार नहीं है जब अमित शाह की सुरक्षा में ऐसी चूक सामने आई हो।
याद दिला दें, 2023 में त्रिपुरा में सीएम शपथ ग्रहण समारोह के दौरान भी एक सफेद कार उनके काफिले में घुस गई थी। इसी तरह, 2022 में महाराष्ट्र दौरे पर एक संदिग्ध व्यक्ति घंटों उनका पीछा करता रहा। इन घटनाओं के बावजूद, गृह मंत्रालय ने अब तक कोई ठोस सुधारात्मक कदम नहीं उठाया। विपक्ष ने इसे केंद्र की नाकामी करार देते हुए निशाना साधा है। कांग्रेस नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने संसद में पुरानी घटनाओं का हवाला देते हुए कहा, “पहलगाम हमले जैसी चूकों के बाद भी अमित शाह जवाबदेही से बच रहे हैं।” आरजेडी और जेडीयू ने भी बिहार सरकार पर सवाल उठाए, दावा किया कि राज्य पुलिस की निगरानी कमजोर है।
सुरक्षा विशेषज्ञों का मानना है कि Z+ श्रेणी की सुरक्षा वाले मंत्री के काफिले के लिए रूट क्लियरेंस और ड्रोन सर्विलांस अनिवार्य है, लेकिन पटना में ये प्रक्रियाएं ढीली पड़ीं। बिहार चुनाव के मद्देनजर यह घटना राजनीतिक रंग ले चुकी है। बीजेपी ने इसे ‘साजिश’ करार दिया है, जबकि विपक्ष इसे ‘केंद्रीय सुरक्षा तंत्र की पोल खोलने वाली’ बता रहा है। गृह मंत्रालय ने जांच के आदेश दिए हैं, लेकिन जनता में असुरक्षा की भावना बढ़ गई है। क्या यह चूक महज लापरवाही है या कोई सुनियोजित प्लान? सवाल बाकी हैं, लेकिन अमित शाह का दौरा बिना किसी और हादसे के संपन्न हो गया। ‘
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